देहरादून। प्रदेश में जल्द ही एक और चुनाव देखने को मिल सकता है। यह चुनाव मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत के लिए होगा। मुख्यमंत्री का पद संभालते हुए उन्हें तीन महीने बीत चुके हैं, मगर उन्होंने अभी तक विधानसभा की सदस्यता नहीं ली है, जबकि उन्हें मुख्यमंत्री बनने के छह महीने के भीतर प्रदेश की किसी भी विधानसभा सीट से सदस्यता लेनी थी, जिसमें से तीन महीने बीत चुके हैं और अब बचे तीन महीने में उन्हें विधायक बनकर विधानसभा पहुंचना है। इसे लेकर भाजपा में सरगर्मी तेजी से बढ़ गई है। शुक्रवार को देर शाम इस मुद्दे पर सरकार और संगठन के बीच प्रदेश भाजपा कार्यालय में बैठक हुई, जिसमें मुख्यमंत्री की सीट को लेकर चर्चा की गई। इसके लिए सात सीटों पर संभावनाएं तलाशी गईं।
मुख्यमंत्री जिस सीट से चुनाव लड़ सकते हैं, उनमें गंगोत्री विधानसभा सीट पर सबसे ज्यादा फोकस है। क्योंकि यह सीट भी रिक्त चल रही है। इसके अलावा चौबट्टाखाल, धर्मपुर, यमकेश्वर, बदरीनाथ, लैंसडौन, कोटद्वार व भीमताल सीटों पर भी चर्चा हुई है। तय किया गया कि केंद्रीय नेतृत्व से बातचीत के बाद ही मुख्यमंत्री के लिए सीट का निर्धारण किया जाएगा। बैठक में यह भी तय किया गया कि 19 जून को पार्टी की प्रदेश कार्यसमिति की बैठक होगी। इसके अलावा आगामी विधानसभा चुनाव के दृष्टिगत चिंतन शिविर का आयोजन, कोरोना वारियर का सम्मान समेत अन्य कार्यक्रम भी निर्धारित किए गए।
बैठक के बाद पत्रकारों से बातचीत में भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष मदन कौशिक ने बताया कि बैठक में पार्टी के आगामी कार्यक्रमों चिंतन शिविर, कार्यसमिति की बैठक, जिलों में कोरोना वारियर का सम्मान और कोरोना में सेवा कार्य के दौरान खुद या अपनों को खो चुके पार्टीजनों के घर जाकर ढांढस बंधाने के संबंध में चर्चा की गई। कौशिक ने बताया कि प्रदेश कार्यसमिति की बैठक 19 जून को वर्चुअल माध्यम से होगी। चिंतन शिविर इस माह के आखिर अथवा अगले माह प्रथम सप्ताह में होगा। इसके लिए प्रदेश महामंत्री जल्द ही स्थल का निर्धारण करेंगे। फिलहाल चिंतन बैठक के लिए अल्मोड़ा जिला संभावित है, मगर यह किसी अन्य स्थान पर भी हो सकती है।