न्यूज जंक्शन 24, हल्द्वानी। उत्तराखंड विधानसभा चुनाव के लिए 10 मार्च को नतीजे आने हैं, मगर उससे पहले पूर्व सीएम हरीश रावत ने एक और शिगूफा (Harish rawat another promise) छोड़ा है। मतदान खत्म होने के बाद से ही हरीश रावत एक के बाद एक वादे जनता से कर रहे हैं और कांग्रेस के चुनाव जीतने के बाद खुद को मुख्यमंत्री के तौर पर पेश कर रहे हैं।
हरीश रावत (Harish rawat another promise) ने सोशल मीडिया पर एक वीडियो जारी कर कहा है कि अगर प्रदेश में उनकी सरकार बनती है तो वो सबसे पहले कर्मकांड करने वाले लोगों की सुध लेंगे। साथ ही राज्य सरकार उनसे लिए सम्मान पेंशन प्रारंभ करेगी। क्योंकि पहले यह मुंडन कर्म करने वाले कुछ लोग होते थे, लेकिन अब वो धीरे-धीरे समय के साथ विलुप्त हो रहे हैं।
हरीश रावत (Harish rawat another promise) ने एक वीडियो जारी कर कहा है कि कांग्रेस इसको अपने घोषणा पत्र में शामिल नहीं कर पाई। लेकिन सरकार बनते ही कांग्रेस कर्मकांड (मुंडन) करने वाले लोगों की सुध लेगी। उन्होंने कहा है कि सनातन धर्म में मानव के पूरे जीनवकाल में 16 संस्कार बताएं गए हैं, जिनमें से मुंडन संस्कार भी मुख्य संस्कार है। किसी भी शिशु का मुंडन संस्कार ज्यादातर पवित्र धार्मिक स्थलों पर किया जाता है। लेकिन इस बदलते दौर में अब मुंडन संस्कार करने वाले लोगों का इस काम से मोह भंग होता दिख रहा है। फिर भी कुछ लोग मुंडन करने वाले है तो उनके लिए राज्य सम्मान योजना योजना प्रारंभ करनी होगी।
इससे पहले भी दिया था बयान
हरीश रावत (Harish rawat another promise) ने दो दिन पहले भी बयान जारी किया था कि अगर कांग्रेस जीती तो वह ही मुख्यमंत्री बनेंगे। नहीं तो घर बैठेंगे। हरीश रावत के इस बयान के बाद से ही पार्टी में ही गुटबाजी शुरू हो गई है। नेता प्रतिपक्ष प्रीतम सिंह ने इस पर नाराजगी जताते हुए कहा है कि मुख्यमंत्री कौन होगा, इसका फैसला दिल्ली में बैठे हाईकमान करेंगे।
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