हल्द्वानी। उत्तराखंड की महिला विकास मंत्री रेखा आर्या के पति गिरधारी लाल साहू उर्फ पप्पू गिरधारी मुश्किल में फंस गए हैं। दोहरे हत्या के 31 साल पुराने एक केस में कोर्ट ने उन्हें गैर जमानती वारंट जारी किया है। बता दें कि उत्तराखंड की कैबिनेट मंत्री रेखा आर्य का ससुराल बरेली के बारादरी थाना क्षेत्र में है। उनके पति गिरधारी लाल साहू यहीं रहते हैं।
बरेली में 11 जून 1990 की रात सिविल लाइंस में रहने वाले नरेश जैन और उनकी पत्नी पुष्पा जैन की संपत्ति विवाद में डंडों और चाकू से हमला कर हत्या कर दी गई थी। इस हत्याकांड में जैन दंपती की दो बेटियां भी घायल हुईं थीं। आरोप था कि घटना वाले दिन चाकू-डंडा लेकर चार-पांच लोग घर में घुस आए और नरेश जैन और उनकी पत्नी पुष्पा जैन की हत्या कर दी। जैन दंपति की बेटी की तरफ से पुलिस ने मुकदमा दर्ज कर जांच शुरू की तो कई नाम सामने आए। तब से मामला कोर्ट में विचाराधीन है। सुनवाई के दौरान कोर्ट ने जोगी नवादा के गिरधारी लाल साहू उर्फ पप्पू गिरधारी सहित 11 लोगों पर आरोप तय किए थे।
इसकी सुनवाई को लेकर गिरधारी लाल को कोर्ट में व्यक्तिगत रूप से हाजिर होना था, लेकिन वह नहीं हुए। इसको लेकर कोर्ट ने उनके व अन्य आरोपियों के खिलाफ 29 जुलाई को गैर जमानती वारंट जारी कर दिया। इसके बाद भी गिरधारी कोर्ट में हाजिर नहीं हुए।
5 अगस्त को सुनवाई के दौरान गिरधारी के अधिवक्ता ने उनकी तबीयत ठीक न होने का हवाला देते हुए हाजिरी माफी की गुहार लगाई, लेकिन कोर्ट ने गिरधारी की गुहार को खारिज कर गैर जमानती वारंट को अगली डेट तक प्रभावी कर दिया। साथ ही गैर जमानती वारंट जारी होने के बाद कोर्ट में गुरुवार को हाजिर हुए तीन अन्य आरोपी बदरुद्दीन, नरेश और जगदीश को अदालत ने जेल भेज दिया। इस मामले में चार अन्य अभियुक्तों की मौत हो चुकी है।
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