उत्तराखंड में त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव के मतगणना और नतीजों की घोषणा के बाद अब जिला पंचायत अध्यक्ष एवं ब्लॉक प्रमुखों के चुनाव की तैयारी शुरू हो गई है। राज्य के 13 जिलों में जिला पंचायत अध्यक्ष पदों के आरक्षण को लेकर कुल 42 आपत्तियां प्राप्त हुई हैं, जिनका निस्तारण आगामी दिनों में किया जाएगा।
पंचायती राज विभाग ने 1 अगस्त को जिला पंचायत अध्यक्ष पद के लिए अनंतिम आरक्षण सूची जारी की थी। इसके बाद 4 अगस्त शाम 6 बजे तक आपत्तियां मांगी गईं। राज्यभर से कुल 42 आपत्तियां मिली हैं, जिनमें सबसे अधिक 15 आपत्तियां देहरादून जिले से प्राप्त हुई हैं। इसके बाद पौड़ी गढ़वाल से 9, टिहरी गढ़वाल से 4, उधम सिंह नगर और चंपावत से 3-3, उत्तरकाशी व पिथौरागढ़ से 2-2, तथा चमोली और रुद्रप्रयाग से 1-1 आपत्तियां दर्ज हुई हैं। नैनीताल, बागेश्वर और अल्मोड़ा जिलों से कोई आपत्ति नहीं आई।
आरक्षण के अनुसार, देहरादून, पौड़ी गढ़वाल, अल्मोड़ा, रुद्रप्रयाग और टिहरी गढ़वाल जिलों में अध्यक्ष पद सामान्य महिला वर्ग के लिए आरक्षित हैं। बागेश्वर जिला में यह पद अनुसूचित जाति महिला के लिए, पिथौरागढ़ में अनुसूचित जाति के लिए और उधम सिंह नगर में ओबीसी वर्ग के लिए आरक्षित किया गया है। वहीं, उत्तरकाशी, नैनीताल, चमोली और चंपावत जिलों में यह पद अनारक्षित रहेगा।
पंचायती राज विभाग ने आपत्तियों के निस्तारण के लिए एक समिति का गठन किया है, जो 5 अगस्त को सभी आपत्तियों का निपटारा करेगी। इसके बाद 6 अगस्त को जिला पंचायत अध्यक्ष पद के आरक्षण की अंतिम सूची जारी कर दी जाएगी। विभाग ने सभी पक्षों से संयम और सहयोग की अपील की है ताकि आगामी चुनाव निष्पक्ष और सुव्यवस्थित तरीके से संपन्न हो सकें।


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