न्यूज जंक्शन 24, हल्द्वानी। आने वाले समय में पूरे प्रदेश में रोडवेज की बस सेवा (Roadways service in Uttarakhand) ठप पड़ सकती है, अगर सरकार ने रोडवेज कर्मचारियों की मांगों पर ध्यान नहीं दिया। कर्मचारियों ने इसके लिए सरकार को अल्टीमेटम दे दिया है और कहा है कि बस सेवा प्रभावित होने की सारी जिम्मेदारी परिवहन निगम प्रबंधन की होगी।
दरअसल, रोडवेज (Roadways service in Uttarakhand) कर्मचारियों को दो माह से वेतन नहीं मिला है। इससे कर्मचारियों में भारी आक्रोश है। पहले भी कोरोना काल के वक्त उन्हें छह महीने तक वेतन नहीं मिला था। अब पटरी पर व्यवस्था आ रही है, मगर दो महीने से मामला फिर गड़बड़ाने लगा है। इससे कर्मचारियों में आक्रोश बढ़ता जा रहा है और उन्होंने आंदोलन की चेतावनी दे दी है। कहा है कि वेतन के लिए 2 मई से धरना प्रदर्शन कर वृृहद आंदोलन किया जाएगा, जिसका असर कुमाु व गढ़वाल दोनों जगह पड़ सकता है।
रविवार को भवाली डिपो में उत्तराखंड रोडवेज कर्मचारी (Roadways service in Uttarakhand) यूनियन के सदस्य एकत्रित हुए, जिसमें यूनियन के प्रदेश संयुक्त मंत्री एलडी पालीवाल ने कहा कि सभी कर्मचारी दो माह से वेतन मिलने का इंतजार कर रहे हैं। मगर निगम प्रबंधन वेतन रोककर श्रमिकों का शोषण कर रहा है। इस महंगाई के दौर में बिना वेतन के जीवनयापन काफी कठिन है। लेकिन निगम व सरकार को श्रमिकों की कोई चिंता नही है।
उन्होंने बताया कि 15 अप्रैल को यूनियन ने निगम प्रबंधन को कर्मचारी समस्याओं के समाधान को नोटिस दिया था। लेकिन अब तक कोई वार्ता नहीं हुई। अब यूनियन आंदोलन करेगी। पालीवाल ने बताया कि कर्मचारी यूनियन के आंदोलन के चलते कुमाऊं से लेकर गढ़वाल और मैदान से लेकर पहाड़ तक सभी सेवाएं (Roadways service in Uttarakhand) बंद रह सकती है, जिसकी समस्त जिम्मेदारी निगम प्रबंधन की होगी।
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