नई दिल्ली। कोरोना वायरस ने दुनिया भर में एक साल से ज्यादा का समय पूरा कर लिया है। दुनिया जानती है कि लाखों लोगों की जानें ले चुका ये वायरस चीन स्थित वुहान लैब से निकला। दुनिया में पहला केस भी वुहान में ही पाया गया था। मगर यहा हैरान करने वाली बात यह है कि इस विवादित लैब को चीन ने अवार्ड के लिए नामित किया है। चीन ने वुहान की इस विवादित लैब को चाइनीज एकेडमी ऑफ साइंसेज ने कोविड-19 पर बेहतरीन रिसर्च करने की दिशा में किए गए प्रयासों के लिए सबसे बड़ा अवार्ड देने के इरादे से नामित किया है।
कई रिपोर्ट्स में यह बताया जा रहा है कि चीन की एकेडमी ऑफ साइंसेज की तरफ से कहा गया है कि इस लैब द्वारा किए गए महत्वपूर्व रिसर्च की बदौलत कोरोना वायरस की उत्पति, महामारी विज्ञान और इसके रोगजनक मैकनिज्म को समझने में मदद मिली है। इसके परिणामों के फलस्वरूप कोरोना वायरस के खिलाफ दवाओं और वैक्सीन को बनाने का रास्ता साफ हुआ। साथ ही वुहान लैब ने महामारी के प्रसार को रोकने और बचाव के लिए महत्वपूर्ण वैज्ञानिक और तकनीकी समर्थन मुहैया कराया। एकेडमी के अनुसार, वुहान इंस्टीट्यूट ऑफ वायरोलॉजी के रिसर्च ने कोरोना वायरस महामारी की रोकथाम और कोरोना की काट यानी कोरोना की वैक्सीन बनाने की दिशा में अभूतपूर्व योगदान दिया है।


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