वन विभाग ने ‌ट्रेंकुलाइज के बाद पकड़ा दहशत का पर्याय बना गुलदार

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उत्तराखंड के हरिद्वार जिले के लालढांग क्षेत्र में पिछले कुछ दिनों से दहशत फैलाने वाले गुलदार को वन विभाग की टीम ने कड़ी मेहनत के बाद जाल में फंसा लिया है। यह गुलदार चमरिया गांव के पास स्थित गन्ने के खेतों में आतंक मचा रहा था, जिससे ग्रामीणों में भय का माहौल था। कई दिनों से यह गुलदार आबादी वाले क्षेत्रों में घुसकर लोगों के लिए खतरा बन चुका था।

गुलदार को पकड़ने के लिए वन विभाग की टीम ने ट्रेंकुलाइज करने का तरीका अपनाया। चमरिया गांव के गन्ने के खेतों में गुलदार दौड़ते हुए देखा गया था, और कुछ ग्रामीणों ने इसका वीडियो भी बनाया था। वीडियो में यह स्पष्ट रूप से देखा जा सकता था कि गुलदार घंटों तक ग्रामीणों के बीच दौड़ता रहा और लोगों में दहशत फैलाता रहा। वन विभाग की टीम ने समय रहते गुलदार को ट्रेंकुलाइज किया और फिर उसे जाल में फंसाकर पकड़ा।

गुलदार की उम्र आठ साल थी और वह पिछले कुछ दिनों से क्षेत्र में आतंक का कारण बन चुका था। चिड़ियापुर रेंज के वन क्षेत्राधिकारी हरीश गैरोला ने बताया कि इस रेस्क्यू ऑपरेशन के दौरान वन विभाग का एक कर्मी भी घायल हुआ था, लेकिन कड़ी मेहनत और टीम की समर्पण भावना के साथ गुलदार को काबू किया गया।

गुलदार के पकड़ने के बाद क्षेत्र के ग्रामीणों ने राहत की सांस ली और वन विभाग का धन्यवाद किया। उनका कहना था कि इस गुलदार के आतंक के कारण वह डर के साये में जी रहे थे, लेकिन अब जब उसे पकड़ लिया गया है, तो वे सुरक्षित महसूस कर रहे हैं।

गुलदार को चिड़ियापुर रेस्क्यू सेंटर में कुछ दिनों तक निगरानी में रखा जाएगा, जहां उसका इलाज और परीक्षण किया जाएगा। फिर कुछ समय बाद उसे जंगल में वापस छोड़ने की योजना बनाई गई है। वन विभाग ने पूरी कार्रवाई के दौरान पूरी सतर्कता और संयम का परिचय दिया और अंततः गुलदार को पकड़कर ग्रामीणों की सुरक्षा सुनिश्चित की।