रुद्रपुर। ऊधमसिंह नगर में सोमवार को बड़ा हादसा हाे गया। यहां के सिडकुल में गंदे पानी के ट्रीटमेंट को बनाए गए प्लांट में गिरे प्लांट हेड समेत तीन कर्मचारियाें की जहरीली गैस से दम घुटने से मौत हो गई। सूचना पर पहुंची पुलिस, एसडीआरएफ और दमकल कर्मियों ने क्रेन की मदद से तीनों शवों को बाहर निकाला।
पुलिस के मुताबिक सिडकुल के सेक्टर सात में कंपनियों से निकलने वाले गंदे पानी के ट्रीटमेंट के लिए सीईटीपी यानी कॉमन इफ्यूलेंट ट्रीटमेंट प्लांट बना हुआ है। सोमवार शाम करीब चार बजे के आसपास कंपनी का हेल्पर 40 वर्षीय हरिपाल उसकी सफाई कर रहा था। इसी बीच वह 15 से 20 फीट गहरे प्लांट में गिर गया। उसके शोर मचाने पर प्लांट हेड 45 वर्षीय रमन मकाला और मार्केटिंग कर्मचारी 35 वर्षीय अवधेश उसे बचाने के लिए चले गए। बताया जा रहा है कि टैंक में उतरने के बाद उनका भी दम घुटने लगा।
यह देख आसपास के कर्मचारियों ने पुलिस को सूचना दी। सूचना पर सीओ पंतनगर आशीष भारद्वाज, सीएफओ वंश बहादुर यादव, पंतनगर थानाध्यक्ष उमेश मलिक, सिडकुल चौकी प्रभारी मुकेश मिश्रा के साथ ही एसडीआरएफ की टीम भी मौके पर पहुंच गई, जहां दो घंटे की मशक्क्त के बाद टीम ने क्रेन की मदद से तीनों को बाहर निकाला। मगर तब तक उनकी मौत हो चुकी थी। पुलिस ने तीनों शवों को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है।
सीओ पंतनगर आशीष भारद्वाज ने बताया कि प्रथमदृष्टया तीनों की मौत टैंक के मीथेन और अमोनिया गैस के से दम घुटने से हुई है। पोस्टमार्टम रिपोर्ट मिलने के बाद ही मौत के सही कारणों की पुष्टि होगी। उन्होंने बताया कि मृतक हरिपाल मूल रूप से बरेली का रहने वाला था और यहां ट्रांजिट कैंप में रहता था। वहीं, प्लांट का हेड रमन मकाला मूलरूप से हैदराबाद का रहने वाला था और यहां आमेक्स रिवेरा कालोनी में रहता था।
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